
भारतीय जनता पार्टी की सरकार विकास के साथ-साथ आज की डिजिटल दुनिया के युग में सब ध्यान रखती है जो प्रत्येक नागरिक से संबंधित है और दिनचर्या में शामिल है
अभी हाल ही में भारतीय जनता पार्टी की गठबंधन एनडीए(NDA) केंद्र सरकार द्वारा पैन कार्ड से संबंधित जरूरी परियोजना मोदी सरकार द्वारा पेन 2.0 परियोजना को मंजूरी 2.0 परियोजना को मंजूरी दी है
प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति ने आयकर विभाग के तहत पैन 2.0 परियोजनाओं को मंजूरी 25 नवंबर 2024 को दी गई है यह परियोजना ई गवर्नेंस के डिजिटल पैन सेवाओं के माध्यम से करदाता पंजीकरण प्रणाली को आधुनिक बनाने पर जोर दिया गया है
केंद्र सरकार द्वारा इस परियोजना को लागू करने के लिए 1435 करोड रुपए का खर्च करेगी
आईए जानते हैं पैन 2.0 परियोजना से नागरिकों को क्या फायदा होगा:-
♦अभी भारत में करीब 78 करोड़ पैन कार्ड धारक है जिन्हें डिजिटल रूप में अपग्रेड किया जाएगा
♦पैन कार्ड को काफी उन्नत किया जाएगा इससे गोपनीयता बनी रहे
♦पुराने पैन कार्ड बंद नहीं होंगे लेकिन नए पैन कार्ड में क्यूआर कोड आ जाएगा
♦मजबूत डिजिटल पैन कार्ड बनकर आएगा
♦उन्नत सुरक्षा के साथ-साथ पर्यावरण अनुकूल प्रक्रियाएं शामिल रहेगी जो सटीक और विश्वनीय डाटा तथा तीव्र एवं बेहतर सेवाएं पहुंच सके
♦अब आपका पैन कार्ड डिजिटल रूप में भी उपलब्ध रहेगा
भारत में पहला पैन कार्ड वर्ष 1972 में भारतीय आयकर विभाग द्वारा जारी किया गया था क्योंकि उसे समय केवल कागजी रूप में मैन्युअल रूप से जारी किया गया था जिसमें एक विशिष्ट संख्या होती थी
इसके बाद वर्तमान स्वरूप में पैन कार्ड की शुरुआत वर्ष 1995 में हुई जिसमें अद्वितीय 10 अंकीय अल्फान्यूमैरिक पहचान संख्या के रूप में डिजाइन किया गया है जो डिजिटल प्रणाली से जुड़ा है पैन कार्ड का उद्देश्य आयकर रिटर्न दाखिल करने वित्तीय लेनदेन में पारदर्शिता लाने और कर चोरी को रोकना था पैन कार्ड अनिवार्य रूप से वित्तीय लेनदेन जैसे बैंक खाता खोलना ,संपत्ति खरीदना और बैंक खाते से अधिक लेनदेन कई सारे वित्तीय लेनदेन के लिए उपयोग होता है


डिजिटल दुनिया के साथ भारत के विकास के बढ़ते कदम
भारत में पहला पैन कार्ड कब बना
बहुत अच्छा मोदी जी
मोदी जी सबका ध्यान रखते हैं डिजीटल में पीछे नहीं होना चाहिए मोदी जी….जय भारत